JAUNPUR NEWS ; खेतासराय(जौनपुर) उत्तर-प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार में वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने गुरुवार को 9वां आम बजट पेश किया। जो वित्तीय वर्ष 2025-2026 के लिए पेश किया गया। जिसका कुल 7.36 लाख करोड़ रुपये है। जिसे सरकार ने विकासोन्मुखी और समावेशी बजट का करार दिया है, जिसमें किसानों, युवाओं, महिलाओं और अधिवक्ताओं के लिये नई घोषणाएं की गई है।
वही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसे सनातन समर्पित बजट बताया है। वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने बजट पेश करते हुए बताया कि इस बजट में आउटसोर्सिंग कर्मचारियों की मानदेय बढाने का एलान किया है और अल्पसंख्यक समुदाय के विकास, उज्ज्वला योजना के तहत मुफ्त दो गैस सिलेंडर, राजस्व कर्मियों को लैपटॉप व स्मार्टफोन, लखनऊ में एआई सिटी बनाने, अयोध्या को सोलर सिटी बनाने, छात्राओं को स्कूटी, छुट्टा पशुओं से छुटकारा दिलाने, युवक, युवतियों को कम्प्यूटर प्रशिक्षण देने समेत कई नई घोषणाएं की गई। हालांकि, विपक्ष ने इस आम बजट को चुनावी एजेंडा बताते हुए इसकी आलोचना की है। बजट में बुनियादी ढांचे, शिक्षा, स्वास्थ्य, किसान कल्याण, महिलाओं की सुरक्षा और सशक्तिकरण पर विषेश जोर दिया गया है। आइए जानते है, इस बजट को लेकर विभिन्न वर्गों की क्या प्रतिक्रियाएं है।
1- किसान: ताराराम निषाद
बजट में किसानों के लिए कुछ घोषणाएं अच्छी है, लेकिन कोई ठोस नियम नहीं बताई गई। जानवरों से फसल पूरी तरह से नुकसान हो जा रही है, ऊपर से कर्ज माफी के लिए कोई नई घोषणा नहीं हुई है, छोटे किसान के लिए बहुत जरूरी था, खाद और बिजली पर छूट की व्यवस्था होती तो ज्यादा अच्छा होता।
2- छात्रा: शिवानी विश्वकर्मा
फ्री टेबलेट और स्मार्टफोन योजना अच्छी तो है, लेकिन हमें सरकारी कॉलेजों की फीस कम करने की जरूरत है। उच्च शिक्षा में ऋण व्यवस्था और सहज बनाना चाहिए। युवा शिक्षा तो पा रहे है, लेकिन नौकरी की गारंटी नहीं है, सरकार को रोजगार के अवसर को बढ़ाना चाहिए।
3- अधिवक्ता: हैदर अब्बास
वकीलों के कल्याण कोष में हुई वृद्धि स्वागत योग्य है लेकिन न्यायिक प्रणाली के डिजिटलीकरण और अधिवक्ताओं के लिए पेंशन योजना को और भी मजबूत करने की जरूरत है इसके साथ ही जूनियर वकीलों को ध्यान में रखते हुए नई योजनाएं लानी चाहिए थी जिससे उनको भी आर्थिक मदद मिल सके।
4- प्रियंका मिश्रा (प्रवक्ता)
महिला सुरक्षा और रोजगार के लिए ज्यादा बजट होना चाहिए था। मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना अच्छी लेकिन महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिये स्वरोजगार और स्किल डेवलपमेंट पर ज्यादा जोर देना चाहिए था और घरेलू हिंसा के बचाव के लिए कड़े कदम उठाना चाहिए।
5- शांतिभूषण मिश्रा (भाजपा नेता)
यह बजट उत्तर-प्रदेश को 1 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने की दिशा में बड़ा कदम है, इसमें सभी वर्गों का ध्यान रखा गया है, जिससे प्रदेश को नई गति मिलेगी।
6- वसीम अहमद (चेयरमैन)
सरकार फिर से कागजी विकास दिखाया है, युवाओं को नौकरी नहीं रही है, किसान परेशान है और महंगाई बढ़ रही है। अल्पसंख्यक वर्ग का बजट और बढ़ाना चाहिए था, यह बजट सिर्फ आगामी चुनाव को मद्देनजर रखकर बनाया गया है, जनता को इससे कोई खास फायदा नहीं होगा।
7- मोहम्मद अज़ाम खान (राष्ट्रीय प्रवक्ता सपा)
सरकार का नौवां बजट पहले के बजटों की तरह कोई विजन नहीं है, बजट में कोई रोडमैप नहीं है कि प्रदेश किस दिशा में ले जाना है, नौजवानों के लिए क्या है, बजट देखकर किसानों की उम्मीद सूख गया है, लोग रोजगार के लिए तरस रहे है।
योगी सरकार का 9वां बजट वादों के साथ और योजनाओं के साथ आया है। सरकार इसे उत्तर-प्रदेश के विकास में मील का पत्थर मान रही है, जबकि विपक्ष इसे सिर्फ चुनावी बजट कह रहा है। किसानों, छात्रों, वकीलों और महिलाओं के लिए कुछ नई योजनाएं जरूर आई है, लेकिन जमीनी स्तर पर इनका कितना प्रभाव पड़ेगा यह आने वाले समय में ही स्पष्ट होगा।